सरकारी नौकरियों में पांच प्रतिशत आरक्षण की मांग को लेकर पटरियों पर धरना दे रहे गुर्जरों ने राजस्थान हाईकोर्ट के निर्देश को मानने से इनकार करते हुए आंदोलन जारी रखने का ऐलान किया है। पीलूपुरा और रसेरी गांव के समीप दिल्ली-मुंबई ट्रैक पर जमे गुर्जरों को आरक्षण के मुद्दे पर जाट समुदाय का भी समर्थन मिलने लगा है।
प्रदेशभर में ट्रेनें रोके जाने और सड़कें जाम करने की चेतावनी का असर नहीं दिखा। गुर्जरों ने हिंडौन-महवा मार्ग पर खेड़ला में, नादौती सहित कई जगह रास्ते जाम किए। इस बीच गुर्जर नेता किरोड़ी सिंह बैसला ने कहा कि सरकार को बातचीत करनी है तो ट्रैक पर आए। गृहमंत्री शांति धारीवाल का कहना है कि हम वार्ता को तैयार हैं, पर यह टेबल पर होगी।
पीलूपुरा में रेलवे ट्रैक पर गुर्जरों की संख्या बढ़ती जा रही है। उधर, कर्नल किरोड़ी सिंह बैसला और उनके साथी 5 प्रतिशत आरक्षण की मांग पर अड़े हुए हैं। उनका कहना है कि सरकार कुछ भी करे, उन्हें तो 5 प्रतिशत आरक्षण चाहिए। उन्होंने गुर्जरों की मांगों के संबंध में सरकार की ओर से किए गए प्रयासों की जानकारी देने के उद्देश्य से अखबारों में प्रकाशित विज्ञापन को भी छलावा बताया।
पीलूपुरा में जिस रेलवे ट्रैक पर आंदोलनकारी गुर्जर बैठे हैं, वहां कड़ाके की सर्दी पड़ रही है। मंगलवार सुबह इस इलाके में घासफूंस और वाहनों के शीशे और छत पर बर्फ की परत जमी थी। गुर्जर अलावों के सहारे ट्रैक पर जमे हैं। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा है कि सरकार गुर्जरों के साथ गत 6 मई को हुए समझौते को लेकर गंभीर है। गुर्जर समाज कानून के प्रति विश्वास और शांति बनाए रखे। दो-तीन दिन में सबकुछ स्पष्ट हो जाएगा। बांदरसिंदरी में मंगलवार दोपहर प्रशासन गांव के संग शिविर का आकस्मिक निरीक्षण करने पहुंचे गहलोत ने कहा कि सरकार समझौते के हर बिंदु का पालन कर रही है। कोर्ट में पैरवी की जा रही है।
बैसला ने पूर्व सांसद विश्वेन्द्रसिंह और भरतपुर कलेक्टर की ओर से दिया गया वार्ता का प्रस्ताव ठुकरा दिया। विश्वेन्द्रसिंह ने वार्ता के लिए सरकार का निमंत्रण पत्र सौंपने के साथ ही मुख्यमंत्री से बैसला की फोन पर बात भी करवाई, लेकिन बैसला ने जयपुर जाने से इनकार कर दिया। इधर भरतपुर कलेक्टर ने भी फोन पर वार्ता के लिए बैसला को न्यौता दिया, लेकिन उन्हें भी साफतौर पर मना कर दिया गया।
उधर, करौली कलेक्टर रहे और वर्तमान में पाली के कलेक्टर नीरज के.पवन, वाणिज्य कर आयुक्त निरंजन आर्य, भरतपुर संभागीय आयुक्त व जयपुर रेंज द्वितीय आईजी राजीव दासोत ने भी बैसला से फोन पर संपर्क साधने का प्रयास किया, लेकिन उन्होंने बात नहीं की। राष्ट्रीय जाट आरक्षण समिति ने भी गुर्जरों के आंदोलन को समर्थन दिया है। मंगलवार को पीलूपुरा में समिति के अध्यक्ष यशपाल मलिक की ओर से भेजे गए प्रतिनिधिमंडल ने इसकी घोषणा की।
उधर, इस समिति के हरियाणा में प्रदेशाध्यक्ष हवासिंह सागवा ने भी आंदोलन में कंधे से कंधा मिलाने की बात कही है। गुर्जरों ने मंगलवार को बयाना की छौंकड़ा पुलिस चौकी पर कब्जा कर लिया। हालांकि पुलिस का कहना है कि यह चौकी सोमवार को ही खाली कर दी गई थी। गुर्जर चौकी के कमरों और छत पर बैठे हैं।
पीलूपुरा में रेलवे ट्रैक पर गुर्जरों की संख्या बढ़ती जा रही है। उधर, कर्नल किरोड़ी सिंह बैसला और उनके साथी 5 प्रतिशत आरक्षण की मांग पर अड़े हुए हैं। उनका कहना है कि सरकार कुछ भी करे, उन्हें तो 5 प्रतिशत आरक्षण चाहिए। उन्होंने गुर्जरों की मांगों के संबंध में सरकार की ओर से किए गए प्रयासों की जानकारी देने के उद्देश्य से अखबारों में प्रकाशित विज्ञापन को भी छलावा बताया।
पीलूपुरा में जिस रेलवे ट्रैक पर आंदोलनकारी गुर्जर बैठे हैं, वहां कड़ाके की सर्दी पड़ रही है। मंगलवार सुबह इस इलाके में घासफूंस और वाहनों के शीशे और छत पर बर्फ की परत जमी थी। गुर्जर अलावों के सहारे ट्रैक पर जमे हैं। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा है कि सरकार गुर्जरों के साथ गत 6 मई को हुए समझौते को लेकर गंभीर है। गुर्जर समाज कानून के प्रति विश्वास और शांति बनाए रखे। दो-तीन दिन में सबकुछ स्पष्ट हो जाएगा। बांदरसिंदरी में मंगलवार दोपहर प्रशासन गांव के संग शिविर का आकस्मिक निरीक्षण करने पहुंचे गहलोत ने कहा कि सरकार समझौते के हर बिंदु का पालन कर रही है। कोर्ट में पैरवी की जा रही है।
बैसला ने पूर्व सांसद विश्वेन्द्रसिंह और भरतपुर कलेक्टर की ओर से दिया गया वार्ता का प्रस्ताव ठुकरा दिया। विश्वेन्द्रसिंह ने वार्ता के लिए सरकार का निमंत्रण पत्र सौंपने के साथ ही मुख्यमंत्री से बैसला की फोन पर बात भी करवाई, लेकिन बैसला ने जयपुर जाने से इनकार कर दिया। इधर भरतपुर कलेक्टर ने भी फोन पर वार्ता के लिए बैसला को न्यौता दिया, लेकिन उन्हें भी साफतौर पर मना कर दिया गया।
उधर, करौली कलेक्टर रहे और वर्तमान में पाली के कलेक्टर नीरज के.पवन, वाणिज्य कर आयुक्त निरंजन आर्य, भरतपुर संभागीय आयुक्त व जयपुर रेंज द्वितीय आईजी राजीव दासोत ने भी बैसला से फोन पर संपर्क साधने का प्रयास किया, लेकिन उन्होंने बात नहीं की। राष्ट्रीय जाट आरक्षण समिति ने भी गुर्जरों के आंदोलन को समर्थन दिया है। मंगलवार को पीलूपुरा में समिति के अध्यक्ष यशपाल मलिक की ओर से भेजे गए प्रतिनिधिमंडल ने इसकी घोषणा की।
उधर, इस समिति के हरियाणा में प्रदेशाध्यक्ष हवासिंह सागवा ने भी आंदोलन में कंधे से कंधा मिलाने की बात कही है। गुर्जरों ने मंगलवार को बयाना की छौंकड़ा पुलिस चौकी पर कब्जा कर लिया। हालांकि पुलिस का कहना है कि यह चौकी सोमवार को ही खाली कर दी गई थी। गुर्जर चौकी के कमरों और छत पर बैठे हैं।
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