उत्तर प्रदेश में लखनऊ के सत्र न्यायालय ने हत्या के मामले में बहुजन समाज पार्टी के विधायक शेखर तिवारी सहित दस लोगों को आजीवन कारावास का दंड सुनाया है।
औरैया ज़िले में वर्ष 2008 में हुए इंजीनियर मनोज गुप्ता हत्याकांड मामले में आज अपर ज़िला जज वीरेन्द्र कुमार की पीठ ने मामले के आरोपी बसपा विधायक शेखर तिवारी के साथ-साथ अन्य अभियुक्तों विनय तिवारी, राम बाबू, योगेन्द्र दोहरे उर्फ भाटिया, मनोज अवस्थी, देवेन्द्र राजपूत, संतोष तिवारी, गजराज सिंह, पाल सिंह और डिबियापुर थाने के पूर्व प्रभारी होशियार सिंह को आजीवन कारावास तथा 68-68 हजार रुपए जुर्माने की सज़ा सुनाई।
शेखर तिवारी औरैया से बसपा के विधायक हैं।
तिवारी की पत्नी विभा तिवारी को साक्ष्य मिटाने के अपराध में ढाई साल की जेल और साढ़े चार हजार रुपए जुर्माने की सज़ा सुनाई गई है।
अभियोजन पक्ष के अनुसार 23 दिसम्बर 2008 की रात औरैया के डिबियापुर थाना क्षेत्र में इंजीनियर मनोज गुप्ता की पीट-पीट कर हत्या कर दी गई थी। यह हत्या कथित रूप से मुख्यमंत्री मायावती के जन्मदिन के जश्न के लिए धन देने से मना करने पर की गई थी।
वारदात में मारे गए इंजीनियर की पत्नी शशि गुप्ता ने इस मामले में विधायक समेत 11 लोगों के विरुद्ध डिबियापुर में मुक़द्दमा दर्ज कराया था।
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