लोकपाल को अलग संवैधानिक संस्था बनाने के राहुल गांधी के बयान पर टीम अन्ना ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है.अन्ना की सहयोगी किरन बेदी ने बिना राहुल का नाम लिए कहा कि एक लोकपाल से भ्रष्टाचार दूर नहीं होगा तो कम से कम एक लोकपाल तो बनाना चाहिए.
किरन ने आगे कहा कि एवरेस्ट पर चढ़ने से पहले एक पहाड़ी पर तो चढ़ना होगा, कम से कम एक कदम तो आगे बढ़ाना चाहिए.
अन्ना के सहयोगी जस्टिस संतोष हेगड़े ने भी राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए कहा कि पहले वो जनलोकपाल बिल पास करवाएं क्योंकि लोकपाल को संवैधानिक संस्था बनाने में सरकार को 20-30 साल लगेंगे औऱ हम इसका इंतजार नहीं कर सकते.
गौरतलब है कि राहुल ने संसद में कहा था कि सिर्फ लोकपाल से भ्रष्टाचार खत्म नहीं होगा, लोकपाल भी भ्रष्ट हो सकता है. राहुल गांधी ने पूरी बहस को एक नई दिशा देते हुए कहा कि चुनाव आयोग की तरह ही लोकपाल एक अलग संवैधानिक संस्था हो.
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