उनके परिवार ने पहले युवराज के फेफड़े में ट्यूमर की पुष्टि की थी। लेकिन अब जाच में इसे घातक पाया गया है और युवराज इस समय बोस्टन में कैंसर अनुसंधान संस्थान में कीमोथेरेपी करा रहे हैं। उनके फिजियो डा जतिन चौधरी ने हालाकि आश्वस्त किया कि इसे इलाज से ठीक किया जा सकता है और यह बल्लेबाज मई में क्रिकेट खेलने के लिए फिट होगा।
युवराज की मा शबनम सिंह से संपर्क नहीं हो पाया है जबकि उनके पिता क्रिकेटर योगराज सिंह ने इस मामले में टिप्पणी करने से इंकार कर दिया। चौधरी ने कहा, 'यह असमान्य ट्यूमर है लेकिन यह कैंसर भी है। इसका पता पहले चरण में ही लगा लिया गया है। डाक्टरों को फैसला करना था कि वे दवाई जारी रखें या फिर कीमोथेरेपी कराएं। लेकिन ट्यूमर का हिस्सा उनके दिल की धमनी के ऊपर था तो इसमें खतरा था क्योंकि यह फट सकता था। लेकिन इसका पूरी तरह से उपचार किया जा सकता है।
डाक्टरों ने फैसला किया कि उसे कीमोथेरेपी करानी पड़ेगी और वह 26 जनवरी को अमेरिका गया। मार्च के अंत में वह सी टी स्कैन कराएगा और तब तक उसे उबर जाना चाहिए। इसके बाद अप्रैल में रिहैबिलिटेशन होगा और वह मई तक खेलने के लिए फिट हो जाएगा।' युवराज पिछले साल विश्व कप में प्लेयर आफ द टूर्नामेंट रहे थे, उन्होंने 362 रन बनाकर और 15 विकेट चटकाकर चार मैच मैन आफ द मैच पुरस्कार हासिल किए थे।
वह इस बीमारी के लिए आयुर्वेदिक दवाईया भी ले रहे हैं। चौधरी ने कहा, 'आयुर्वेदिक उपचार के बाद कीमोथेरेपी के केवल तीन चरण जरूरी हैं। शुरू में जब अक्तूबर के अंत में बायोप्सी के बाद कैंसर का पता चला तो डाक्टरों को डर था कि उपचार में कीमोथेरेपी के छह चरण कराए जाएंगे। शुक्र है कि सर्जरी की जरूरत नहीं पड़ी। वह पहले से काफी बेहतर है और जल्द से जल्द क्रिकेट मैदान पर वापसी करना चाहता है। भारत के अस्पतालों में गलत जाच के कारण कैंसर का पता चलने में देरी हुई। पहली बायोप्सी रिपोर्ट उनकी कार से चोरी हो गई, मैं अस्पताल का नाम नहीं बताना चाहूंगा लेकिन दूसरी रिपोर्ट में सही जाच नहीं हुई।'
चौधरी के मुताबिक रूसी डाक्टर की जाच में कैंसर का पता चला और अमेरिका में डाक्टरों से सलाह के बाद फैसला किया गया कि युवराज की कीमोथेरेपी कराई जाएगी। मार्च में कीमोथेरेपी कराने के बाद, उनका रिहैबिलिटेशन अप्रैल के अंत तक पूरा हो जाएगा और वह मई में खेलने के लिए पूरी तरह फिट होंगे।
युवराज ने 37 टेस्ट मैच में 34.80 के औसत से 1775 रन बनाए हैं। उन्होंने 274 वनडे मैच में 37.62 के औसत से 8051 रन जोड़े हैं। वहीं 23 ट्वंटी20 मैचों में उनके नाम 567 रन हैं। उधर, युवराज की बीमारी की खबर सुनकर पूरा देश और दुनिया भर में उनके करोड़ों फैंस दुखी हैं। हर कोई अपने पसंदीदा खिलाड़ी के लिए दुआएं मांगने में जुट गया है।
इस बुरी खबर से गुजराज के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी भी अछूते नहीं रहे। मोदी ने कहा कि वह भारत के स्टार क्रिकेटर युवराज सिंह की बीमारी की खबर सुनकर दुखी हैं और उम्मीद जताई कि यह क्रिकेटर दोबारा देश के लिए खेल पाएगा। मोदी ने अपने ट्विटर एकाउंट पर लिखा, 'युवराज सिंह की बीमारी की खबर सुनकर दुख हुआ। वह जुझारू इंसान है और मुझे पूरा भरोसा है कि वह जल्द ही इससे उबर जाएगा और भारत के लिए दोबारा खेलेगा।' मोदी ही नहीं, जम्मू एवं कश्मीर के मुख्य मंत्री और क्रिकेट प्रेमी उमर अब्दुल्ला ने भी युवी के जल्द उबरने की कामना की। उमर ने अपने ट्विटर एकाउंट पर लिखा, 'मैं युवराज सिंह के जल्द और पूरी तरह उबरने की कामना करता हूं। अपने सर्वश्रेष्ठ दिन भी केवल कुछ ही क्रिकेटर उससे अधिक रोमाचक हैं।' टेनिस खिलाड़ी रोहन बोपन्ना ने कहा,
'युवराज सिंह के जल्द उबरने की कामना करता हूं। हमारी प्रार्थना और दुआएं उनके साथ हैं।' युवराज के टीम के साथी तेज गेंदबाज एस श्रीसंत ने भी उनके जल्द उबरने की कामना की। श्रीसंत ने कहा, 'युवराज की बीमारी के बारे में सुनकर दुख हुआ। स्वास्थ्य काफी अहम है और मैं उनके जल्दी उबरने की कामना करता हूं।'
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