मूडी की निवेशक सेवा (मूडीज) ने भारत सरकार की स्थानीय और विदेशी मुद्रा जारीकर्ता रेटिंग को उन्नत करते हुए बा3 से बा2 किया है और रेटिंग के आउटलुक को बदलते हुए सकारात्मक से स्थिर की श्रेणी में कर दिया है। भारत की क्रेडिट रेटिंग में 13 साल बाद यह सुधार हुआ है। भारत की स्वायत्त क्रेडिट रेटिंग में अंतिम सुधार जनवरी 2004 में बा3 (बा1 से) किया गया था।
भारत सरकार ने इस सुधार का स्वागत किया है और साथ ही विश्वास जताया है कि मूडीज के इस कदम से भारत सरकार द्वारा किए गए प्रमुख आर्थिक और संस्थागत सुधारों को मान्यता मिली है।इन सुधारों के अंतर्गत वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) लागू करना; एक सही मौद्रिक नीति का ढांचा तैयार करना; सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के पुनर्पूंजीकरण के लिए उपाय और अर्थव्यवस्था में औपचारिकता और डिजिटलीकरण (जेएएम एजेंडा) लाने के लिए किए गए कई उपाय- विमुद्रीकरण, “आधार” प्रणाली पर आधारित बायोमेट्रिक खाता तथा लाभ का सीधा प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (डीबीटी) के जरिए संबंधित व्यक्ति के खाते में हस्तांतरण।
मूडीज ने स्थिरता के लिए सरकार की प्रतिबद्धता को भी मान्यता दी है जिसमें मुद्रास्फीति में कमी, घाटे में गिरावट और विवेकपूर्ण बाह्य संतुलन तथा सरकार के राजकोषीय समेकन कार्यक्रम शामिल हैं, जिसके परिणामस्वरूप राजकोषीय घाटा वर्ष 2013-14 में सकल घरेलू उत्पाद का 4.5 प्रतिशत से कम होकर वर्ष 2016-17 में 3.5 प्रतिशत और सामान्य सरकार ऋण पर भी गंभीर प्रभाव हुए हैं। सरकार मध्यावधि में राजकोषीय समेकन जारी रखने का इरादा रखती है।
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